मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को सचिवालय में जनपद चम्पावत को आदर्श जनपद बनाने के लिए लिए बनाई जा रही कार्ययोजना और गतिमान कार्यों की समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड को आदर्श राज्य बनाने के लिए जनपद चम्पावत को मॉडल जनपद के रूप में लिया जा रहा है। चम्पावत ऐसा जनपद है जिसमें राज्य की भौगोलिक परिस्थितियों के हिसाब से मैदान, तराई, भाबर और पर्वतीय क्षेत्र शामिल हैं।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि आदर्श जनपद चम्पावत के लिए बनाई जा रही कार्य योजना पर तेजी से कार्य किये जाएं। उन्होंने कहा कि विकास के साथ विरासत को भी आगे बढ़ाना है। अधिकारियों को मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये कि विकास कार्यों में पारिस्थितिकी और पर्यावरण में समन्वय बनाकर कार्य करें। प्रकृति द्वारा हमें प्रदान की गई विरासतों के संरक्षण के साथ विकास कार्य किये जाएं। उन्होंने कहा कि अभी तक बनाई गई कार्ययोजना के अनुसार कार्यों को धरातल पर तेजी से उतारा जाए। चरणबद्ध तरीके से कार्यों में तेजी लाई जाए, यह सुनिश्चित किया जाए कि कार्यों के परिणाम जल्द धरातल पर दिखें। उन्होंने कहा कि आदर्श चम्पावत के लिए नोडल अधिकारी जनपद के अधिकारियों एवं कार्यदायी संस्थाओं के साथ नियमित बैठकें करें। उन्होंने कहा कि आदर्श चम्पावत के लिए और क्या बेहतर कार्य हो सकते हैं, इसके लिए स्थानीय स्तर पर लोगों के सुझाव भी लिये जाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि चम्पावत जनपद में धार्मिक, आध्यात्मिक और साहसिक पर्यटन के क्षेत्र में अनेक संभावनाएं हैं। चम्पावत जनपद में आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटक की सुविधा के दृष्टिगत तीन से चार दिन की यात्रा के लिए सर्किट बनाए जाएं। पूर्णागिरी में श्रद्धालुओं की संख्या काफी अधिक रहती है, श्रद्धालुओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। उन्होंने कहा कि शारदा कॉरिडोर और चम्पावत के आईएसबीटी को भी विस्तारित करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि निर्माण संबधी कार्यों में पारिस्थितिकी से संबंधित पहलुओं का विशेष ध्यान रखा जाए।
बैठक में प्रस्तुतीकरण के माध्यम से जानकारी दी गई कि चम्पावत जनपद में पर्यटन, कृषि और बागवानी, हेल्थकेयर, शिक्षा, दुग्ध और उससे संबंधित उत्पादों को बढ़ावा देने के लिए विस्तृत कार्ययोजना पर कार्य किया जा रहा है। चम्पावत को आदर्श राज्य बनाने के लिए 2030 तक के लिए लघु, मध्यम और दीर्घकालिक योजनाओं पर कार्य किया जा रहा है। जनपद में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने, एडवेंचर टूरिज्म को बढ़ावा देने, डेस्टिनेशन वेडिंग हब बनाने, किवी और दुग्ध उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए योजनाबद्ध तरीके से कार्य किये जा रहे हैं। आदर्श चम्पावत के लिए जिन योजनाओं पर कार्य किये जा रहे हैं, भविष्य में स्थानीय स्तर पर ये लोगों की आर्थिकी को तेजी से बढ़ाने में काफी कारगर साबित होंगी।
जिलाधिकारी चम्पावत नवनीत पाण्डेय ने कहा कि केन्द्र एवं राज्य सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ जनपद में प्रत्येक पात्र व्यक्ति को मिले, इस पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। चम्पावत जनपद में सैलर एनर्जी के क्षेत्र में अनेक संभावनाएं हैं, इस दिशा में विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जनपद में ग्रामीण क्षेत्रों से शहरी क्षेत्रों में पलायन बढ़ रहा है, इसको ध्यान में रखते हुए टाउन प्लानिंग पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
बैठक में मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, अपर मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, सचिव शैलेश बगोली, एस.एन.पाण्डेय, विशेष सचिव डॉ. पराग मधुकर धकाते, यूकॉस्ट के महानिदेशक प्रो. दुर्गेश पंत, अपर सचिव जगदीश चन्द्र कांडपाल एवं कार्यदायी संस्थाओं के अधिकारी उपस्थित रहे।
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इनोवटिव प्रोजेक्टस देश के सभी पर्ववतीय राज्यों और जिलों के लिए गाइड लाइन का करेंगे कामः सीएम
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि मॉडल जिले के रूप में विकसित किया जा रहा चंपावत न केवल उत्तराखण्ड के लिए बल्कि सभी हिमालयी राज्यों के लिए एक आदर्श बनेगा। चंपावत के विकास के लिए किए जा रहे इनोवेटिव प्रोजेक्टस देश के सभी पर्वतीय राज्यों और जिलों के लिए गाइड लाइन का काम करेंगी। चंपावत जिले को मॉडल जिले के रूप में विकसित करने में लगे जिला प्रशासन के साथ ही सभी सम्बन्धित स्टेकहोल्डर्स को मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि इस सम्बन्ध में अभी तक हुए डॉक्यूमेंटेशन को शत प्रतिशत धरातल पर उतारा जाए तथा इसकी निरन्तर निगरानी की जाय।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सचिवालय में मुख्य वैज्ञानिक सलाहकार कार्यालय भारत सरकार के प्रतिनिधियों की उपस्थिति में जनपद चम्पावत को ‘‘आदर्श जनपद चम्पावत’’ के रूप में विकसित किये जाने हेतु किये गये कार्यों की समीक्षा एवं आगामी कार्यक्रमों के संबंध में आयोजित बैठक में प्रतिभाग किया।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मुख्य वैज्ञानिक सलाहकार कार्यालय भारत सरकार के प्रतिनिधियों द्वारा चंपावत में जाकर तैयार की गई चंपावत की भौगोलिक परिस्थितियों के अनुरूप विकास की संभावना, साइंस एवं टेक्नोलॉजी के आधार पर विकास की संरचना पर अधारित Climate Adaptive Agriculture पुस्तिका का विमोचन किया।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चंपावत की विभिन्न भौगोलिक स्थिति पर आधारित ऑनलाइन डैशबोर्ड, जनपद चंपावत के अंतर्गत चल रही विभिन्न विभागीय योजनाओं की प्रगति पर आधारित ऑनलाइन डैशबोर्ड का अवलोकन किया। उन्होंने कहा इस तरह के ऑनलाइन डैशबोर्ड उत्तराखंड राज्य में बड़े स्तर पर भी विकसित किए जाएंगे।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि मुख्य वैज्ञानिक सलाहकार कार्यालय से आए प्रतिनिधियों द्वारा चंपावत में जाकर किए गए कार्य, निश्चित ही चंपावत एवं उत्तराखंड के विकास में अपनी अहम भूमिका निभाएगा। उन्होंने कहा विभिन्न भौगोलिक परिस्थितियों से परिपूर्ण चंपावत जिले के अनुरूप ही राज्य का विकास किया जाएगा। आगामी समय में चंपावत जिले के अंतर्गत कई बड़े प्रोजेक्ट को पायलट प्रोजेक्ट के रूप में शुरू करने की योजना है।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि चंपावत को आदर्श जिले के रूप में विकसित करने में यूकोस्ट की अहम भूमिका है। उन्होंने कहा संपूर्ण हिमालय राज्यों में उत्तराखंड आदर्श राज्य बने इस पर भी तीव्र गति के साथ कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा चंपावत प्राकृतिक सौंदर्य, स्वच्छ पर्यावरण एवं मंदिरों से आच्छादित है। इन्हीं सब में संभावनाएं खोज कर हमें विकास की नई ऊंचाइयों को छूना है।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि साइंस एवं टेक्नोलॉजी के माध्यम से जनपद चंपावत के अंदर किस प्रकार विकास को स्थापित कर सकते हैं इस पर भी योजनाएं बनाई जाए। उन्होंने कहा कृषि, बागवानी, स्वास्थ्य शिक्षा जैसी मूलभूत सुविधाओं पर भी ध्यान दिया जा रहा है।
महानिदेशक UCOST प्रो. दुर्गेश पंत ने बताया कि चंपावत जिले में साइंस सेंटर की स्थापना की जाएगी। इसके साथ ही संपूर्ण हिमालय राज्यों के लिए हिमालय नॉलेज कॉरिडोर को भी विकसित किया जा रहा है। उन्होंने बताया यूकोस्ट निरंतर प्रत्येक विभागों के साथ समन्वय कर विकास योजनाओं को आगे बढ़ाने का काम कर रहा है। प्रत्येक योजना का डॉक्यूमेंटेशन भी किया जा रहा है।
इस दौरान कार्यक्रम में अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, प्रमुख सचिव आर. के सुधांशु, अतिरिक्त सचिव प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार कार्यालय डॉ प्रीति बेजल, राहुल नायर, प्रो. आर.एम पंत, कुलपति, असम केंद्रीय विश्वविद्यालय, वी.सी के माध्यम से जिलाधिकारी चंपावत नरेंद्र सिंह भंडारी एवं अन्य लोग मौजूद रहे।
सीएम ने किया चंपावत जिले में 87.28 करोड़ रुपये की योजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास
चंपावत जिले के भ्रमण पर पंहुचे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जनपद चंपावत के विकास हेतु कुल 87.28 करोड़ रुपये की 19 विकास योजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया। उन्होंने विधानसभा चम्पावत हेतु 4469.35 लाख रुपए की 11 योजनाओं का शिलान्यास तथा 258.15 लाख रुपए की एक योजना का लोकार्पण किया। विधानसभा लोहाघाट हेतु 779.45 लाख रुपए की कुल 4 योजनाओं का शिलान्यास एवं 3321.13 लाख रुपए की 3 योजनाओं का लोकार्पण किया।
मुख्यमंत्री ने जिले के विकास हेतु विभिन्न घोषणाएं की। जिसमें टनकपुर व बनबसा क्षेत्र के आंतरिक मार्गों का हॉटमिक्स के द्वारा सुधारीकरण किया जाएगा। राज्य मार्ग संख्या 109 सुखीढांग धुरा रीठासाहिब के ब्रजनगर तालियाबांज प्रभाग पर एवं राज्य प्रभाग संख्या 110 सुखिढांग श्यामलाताल मार्ग पर हॉटमिक्स के द्वारा रोड का सुधारीकरण किया जाएगा। ललुवापानी बनलेख प्रस्तावित राज्यमार्ग का हॉटमिक्स के द्वारा सुधारीकरण किया जाएगा तथा ठीक प्रकार से इसका पुनर्निर्माण का कार्य किया जाएगा। चम्पावत विधानसभा के आंतरिक सम्पर्क मार्गों का हॉटमिक्स के द्वारा सुधारीकरण का कार्य किया जाएगा। टनकपुर गाँधी मैदान में कम्युनिटी हॉल का निर्माण किया जाएगा।
मेले के शुभारंभ अवसर पर जनता को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने उत्तरायणी पर्व की सभी को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि आज का दिन हमारे लिए विशेष महत्व रखता है। आज के दिन भगवान सूर्य के उत्तरायण में आने से एक बेहतर शुरूआत होती है। हमारे जीवन में उत्साह एवं शक्ति प्राप्त होती है। इसी उत्साह एवं शक्ति से हम राज्य के विकास में हम आगे बढ़ेंगे।
हरेला क्लब द्वारा लगातार उत्तरायणी कौथिग का आयोजन किया जा रहा है। यह संस्था हमारी संस्कृति को आगे बढ़ाने का कार्य कर रही है। इसी प्रकार हरेला पर्व जो हमारे पर्यावरण का प्रतीक है आज पूरे राष्ट्र के वैज्ञानिक व जल संरक्षण के क्षेत्र में कार्य करने वाले लोगों द्वारा इस हरेला पर्व के महत्व को समझा गया है कि यह हमारे पर्यावरण के संरक्षण के लिए कितना महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने हमारे योग को अंतरराष्ट्रीय प्रसिद्धि दिलाई है। आज हमारे सभी धार्मिक स्थल विकास की ओर अग्रसर हैं। केदारनाथ, बद्रीनाथ का मास्टर प्लान तैयार कर कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। स्वदेश दर्शन में चम्पावत जिले के गोरखनाथ, मां वाराही, मां पूर्णागिरि धाम आदि धार्मिक स्थानों को विकसित करने का प्रस्ताव भारत सरकार में भेजा गया है। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में नमामि गंगे, निर्मल गंगा अभियान सहित अनेक अभियान चल रहे हैं। नमामि गंगे अभियान के अतंर्गत मां शारदा नदी को भी इसमें सम्मिलित किया गया है। इस परियोजना के अंतर्गत शारदा नदी में सम्मिलित होने वाले नदी नालों में एसटीपी लगाने का प्रस्ताव तैयार किए जाएंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि विकास कार्य धन की वजह से नहीं रूकेंगे। उन्होंने जिलाधिकारी को निर्देश दिए कि जिले के विकास हेतु बेहतर योजनाएं बनाएं। चंपावत को मॉडल जिला बनाए जाने के लिए लगातार कार्य किए जा रहे हैं और सरकार के सभी विभागों को इस काम में लगाया गया है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि टनकपुर को अन्य बड़े शहरों से रेल सुविधा से जोड़ने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। सड़क मार्गों को ठीक किया जा रहा है। टकनपुर सितारगंज टू लेन को फोर लेन बनाने को केंद्रीय परिवहन मंत्री से वार्ता की गई है। सीएम ने कहा कि आंधी आए या तूफान नहीं रूकेगा विकास का यह अभियान। यह विकास का रथ अब नहीं रूकेगा। उत्तराखंड राज्य 2025 तक देश के अग्रणी राज्यों में गिना जाएगा। उन्होंने कहा कि हल्द्वानी जिस तरह पहाड़ का एक द्वार है उसी तरह टनकपुर भी एक द्वार है। जिसका चहुमुंखी विकास किया जाएगा।
इस अवसर पर हरेला क्लब की महिला विंग ने स्वागत गीत प्रस्तुत किया व छोलिया दल द्वारा नृत्य प्रस्तुत किया। इस दौरान मुख्यमंत्री द्वारा क्लब की महिला सदस्यों के स्टॉल में जाकर पहाड़ी व्यंजनों का भी स्वाद चखा तथा पुनः सभी को मकर संक्रांति की बधाई दी।
इस अवसर पर अपने संबोधन में अध्यक्ष वन विकास निगम कैलाश गहतोड़ी ने कहा कि शारदा घाट को हरिद्वार की तर्ज पर विकसित किया जा रहा है यह मुख्यमंत्री जी की क्षेत्र के विकास के लिए दूरगामी सोच है। उन्होंने कहा कि आज मुख्यमंत्री के प्रयासों से टनकपुर में राज्य का नंबर एक बस अड्डा बनने जा रहा है।
इस दौरान माननीय मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने 19 विकास योजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया। जिसमें विधानसभा क्षेत्र चंपावत में लोक निर्माण विभाग की 24.85 किमी सूखीढांग-डांडा-मीनार मोटर मार्ग के 6.00 किमी से 29.85 का पुनर्निर्माण एवं डामरीकरण का कार्य, पर्यटन विभाग की जनपद चंपावत के अंतर्गत बूम टनकपुर में राफ्टिंग हेतु टिकट काउंटर शौचालय एवं एप्रोच पाथ का निर्माण, चरण मंदिर टनकपुर जौलजीबी रोड में राफ्टिंग हेतु मुख्य सड़क मार्ग में महाकाली नदी तक एप्रोच का निर्माण, जनपद चंपावत में सुलभ इंटरनेशनल द्वारा संचालित 5 शौचालयों रीठा साहिब, बस स्टेशन चंपावत, शांत बाजार चंपावत, बस स्टेशन टनकपुर व टैक्सी स्टैंड टनकपुर की मरम्मत एवं उच्चीकरण, चंपावत नगर में पर्यटन विभाग के स्टाफ क्वार्टर का निर्माण, चंपावत में मार्केट एवं कम्युनिटी सेंटर का निर्माण, चंपावत में मल्टीलेवल पार्किंग का निर्माण, टनकपुर में मल्टीलेवल पार्किंग का निर्माण, निर्माण शाखा उत्तराखंड पेयजल निगम की टनकपुर (ग्रामीण) पे.यो., दियूरी (रेट्रो) पे.यो, बनबसा (ग्रामीण) पे.यो का शिलान्यास तथा निर्माण इकाई उत्तराखंड पेयजल निगम की चंपावत अंतर्गत पुलिस थाना तामली के प्रशासनिक भवन का निर्माण का लोकार्पण किया।
विधानसभा लोहाघाट अंतर्गत पर्यटन विभाग की देवीधार मेला क्षेत्र में परिक्रमापथ एवं पर्यटकों हेतु व्यूप्वाइंट-पर्यटक छतरी एवं बैंचेंज का निर्माण, राजकीय सिंचाई लोहाघाट की नाबार्ड मद के अंतर्गत लोहावती नदी पर कोलिढेक कृत्रिम झील का निर्माण, नाबार्ड के अंतर्गत जनपद चंपावत के विकासखंड बाराकोट के ग्राम बोतड़ी की बाढ़ सुरक्षा योजना का लोकार्पण तथा निर्माण शाखा उत्तराखंड पेयजल निगम की बलई पंपिंग पेयजल योजना, बैढ़ाओम एवं ढटी गांव पंपिंग पेयजल योजना, लोहाघाट में मल्टी लेवल पार्किंग-1 का निर्माण, लोहाघाट में मल्टीलेवल पार्किंग-2 के निर्माण योजनाओं का शिलान्यास किया।
इस अवसर पर पालिकाध्यक्ष विपिन वर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष निर्मल महरा, भाजपा प्रदेश मंत्री हेमा जोशी, जिलाधिकारी नरेंद्र सिंह भंडारी, पुलिस अधीक्षक देवेंद्र पींचा, सीडीओ आर एस रावत एसडीएम रिंकू बिष्ट, सुंदर सिंह, हरेला क्लब अध्यक्ष डीडी भट्ट, संरक्षक डा. दिनेश चंद्र पाठक, शंकर गड़कोटी, विजय चंद, धर्मेंद्र चंद, महेश चंद, सुनीता वर्मा, सुमन गहतोड़ी, विद्या जुकरिया सहित विभिन्न जनप्रतिनिधि, गणमान्य नागरिक विभागों के अधिकारी आदि मौजूद रहे।
सरकार से मिल रही सब्सिडी का उठाया फायदा, समय के साथ श्रम की भी हुई बचत
असौज या आश्विन तथा कार्तिक मास पहाड़ की महिलाओं के कंधों पर भारी बोझ लेकर आता रहा है। असौज में घास काटने में सुबह से शाम तक महिलाएं पालतू मवेशियों के लिए सालभर की घास काटती हैं। घास काटने के बाद सुखाकर उसके लूट्टे लगाए जाते हैं। करीब दो माह तक महिलाएं व बेटियां धूप में घास काटती हैं तो इससे उनको अत्यधिक श्रम करना होता है। मगर अबकी बार विकास खंड स्तर पर घास काटने वाली मशीनों ने मानो महिलाओं के जीवन को आसान बना दिया तो काम का बोझ भी एक तिहाई हो गया है। यह बोझ कम हुआ घास काटने की मशीन से।
चंपावत जिले के लोहाघाट ब्लॉक अंतर्गत ग्राम पंचायत गंगनौला की प्रधान कमला जोशी व पूर्व प्रधान ललित मोहन जोशी के प्रयासों ने ग्राम पंचायत के तोक गांव चनोड़ा, गल्लागांव, रुपदे, अनुसूचित बस्ती बचकड़िया, गंगनौला की महिलाओं के जीवन में नया सवेरा आ गया।
पूर्व प्रधान ललित को पता चला कि ब्लॉक के माध्यम से समूहों को 90 प्रतिशत सब्सिडी में घास काटने की मशीन मिल रही है। जुलाई माह में उन्होंने उन पुरुषों के नाम से दो समुह बनाये, जो भूमिधर किसान हैं। इसके बाद समूहों के माध्यम से घास काटने की मशीन खरीदी गई। सब्सिडी के बाद घास काटने की मशीन के लिए प्रति चार हजार तो ट्रेक्टर के लिए 15 या 19 हजार जमा कराए गए। मशीन मिलने के बाद घास कटाई शुरू हुई तो महिलाओं के काम का बोझ 25 प्रतिशत से भी कम रह गया। हाथ से चलाने वाली मशीन को पुरुष चलाने लगे तो एक दिन में 20 महिलाओं के बराबर घास कटने लगी। अब तक ग्राम पंचायत में 40 मशीनें क्रय हो चुकी हैं तो 5 ट्रेक्टर आ गए हैं।
एक लीटर पेट्रोल से 20 महिलाओं की बराबरी
घास काटने की मशीन एक लीटर पेट्रोल की कटाई से एक दिन में 200 से अधिक तक घास की गठिया बन जाती हैं। जो 20 महिलाओं के बराबर श्रम है। गांव की लक्ष्मी जोशी, अनिता, भैरवी राय, कविता जोशी, उर्मिला आदि महिलाओं का कहना था कि इस मशीन ने उनके काम का बोझ बेहद कम हो गया है। पुरुष ही घास काटते हैं, उन्हें सिर्फ समेटना पड़ता है। जिन घरों में मशीन चलाने के लिए पुरूष नहीं हैं, आपसी सहभागिता से घास काटी जा रही है। पहले तक असौज माह हमारे लिए बेहद कष्टकारी होता था। अब घास के साथ खेत जुताई के लिए बैल पालने की जरूरत नहीं है। इससे बंजर खेतों को भी आबाद करने का अवसर मिल गया है। चनोड़ा के योगेश जोशी कहते हैं, पहले घास काटने में घर की महिलाओं को एक माह तक व्यस्त रहता पड़ता था, लेकिन अब उनका काम सीमित हो गया। जो पुरुष पहले कभी घास के खेतों तक नहीं जाते थे, अब मशीन लेकर घास काटकर महिलाओं के काम को कर रहे हैं। गंगनौला के साथ ही पास के गांव भूमलाई, ईड़ाकोट, कोयाटी में भी घास काटने की मशीन ने कामकाजी महिलाओं के जीवन में बड़ा सकारात्मक बदलाव आया है।
नेपाल सीमा पर मंच गांव पहुंचकर सीएम ने ग्रामीणों का बढ़ाया हौसला
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी 13 अगस्त से 15 अगस्त तक आयोजित ’हर घर तिरंगा अभियान’ के तहत चंपावत जिले के दूरस्थ सीमांत क्षेत्र राजकीय इंटर कॉलेज मंच पहुंचकर तिरंगा अभियान में शामिल हुए।
बाबा गोरखनाथ की पूज्य भूमि से हर घर तिरंगा का दिया गया संदेश
मुख्यमंत्री ने बाबा गोरखनाथ को दोनों हाथ जोड़कर शीश झुकाकर प्रणाम किया और कहा यह क्षेत्र, तल्लादेश का क्षेत्र, बाबा गोरखनाथ की भूमि वास्तव में बहुत पूज्य भूमि है और बाबा गोरखनाथ की कृपा से आपने मुझे उत्तराखंड प्रदेश की सेवा करने का अवसर दिया है, जिसके लिये मैं सदैव यहां की जनता का दिल से आभारी रहुंगा। उन्होंने कहा कि मेरे द्वारा घोषणा की थी कि मंच में उप तहसील का संचालन करेंगे और आज बाबा गोरखनाथ की कृपा से उप तहसील का संचालन शुरू हो गया है और हम कोशिश करेंगे उप तहसील का संचालन और प्रभावी तरीके से हो।
सीमांत क्षेत्रों के विकास के लिये सरकार दृढ़ संकल्पित
मुख्यमंत्री ने कहा कि यहां पर लोगों की सुविधाओं हेतु अस्पतालों में डाक्टरों की कोई कमी न हो जिसके लिए हमेशा प्रयास किया है और अभी अस्पतालों में डाक्टरों की तैनाती भी होने लगी है। उन्होंने कहा कि स्कूलों की व्यवस्था, संपर्क मार्गों, बिजली, कनैक्टिविटी की यहां जो भी दिक्कत है उसे पूरा करने के लिये प्रस्ताव दिये है और उन पर कार्य हो रहा है। यह मेरा संकल्प है कि आने वाले समय में यहां के लोगों को शिक्षा, स्वास्थ्य आदि की सुविधाओं में किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत न हो ईधर-उधर जाना न पड़े इसके लिए सरकार कार्य कर रही है, और आने वाले समय में यह सीमान्त क्षेत्र विकास की धाराओं में आयेगा।
प्रधानमंत्री के आह्वान पर हर घर तिरंगा अभियान बना जन आंदोलन
भारत के प्रधानमंत्री के आहवाहन पर आज पूरे देश में आजादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि तिरंगा हमारी आन, बान और शान है इसलिए इसे घरों में प्रदर्शित करें। क्योंकि तिरंगा हमारा मान-सम्मान और स्वाभिमान है। इस तिरंगे के लिए, भारत की आजादी के लिए न जाने कितने लोगों ने अपना बलिदान दिया। यह अमृत महोत्सव उन सबको स्मरण करने का समय है। उन्होंने कहा कि आज से 25 साल बाद जब देश आजादी के 100 वर्ष मानायेगा तो इन 25 सालों के कालखण्ड को अमृत काल नाम दिया जायेगा। उन्होंने कहा कि वर्ष 2014 से इन 8 सालों में जो भी सरकार द्वारा योजनाएं चलायी जा रही हैं वह गरीबों के कल्याण एवं उत्थान के लिए चलायी जा रही हैं। उन्होंने कहा देश के गृहमंत्री से इस सीमान्त क्षेत्र में विकास के लिए बजट की धनराशि बढ़ाने का अनुरोध किया है। उन्होंने कहा कि कनेक्टिविटी के लिए भारत सरकार को 1200 टावरों मिलने का प्रस्ताव गया है जिसे भारत सरकार ने स्वीकृती दे दी है।
स्थानीय महिलाओं ने सीएम को राखी बांध दीर्घायु की कामना की
मुख्यमंत्री ने रक्षाबंधन की सभी को बधाई दी और वहां उपस्थित महिलाओं ने मुख्यमंत्री को रक्षा धागा बांधा और उनके दीर्घायु की कामना की।
क्षेत्र के विकास के लिये मुख्यमंत्री ने महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं
मुख्यमंत्री ने तामली मुख्य मोटर मार्ग से राजकीय इण्टर कालेज मंच में स्थाई हैलीपेड का निर्माण एवं सड़क का निर्माण, राजकीय इण्टर कालेज मंच में फील्ड का विस्तारिकरण, राजकीय इण्टर कालेज मंच में विज्ञान वर्ग की स्वीकृति प्रदान की जायेगी, राजकीय इण्टर कालेज मंच और तामली में एनसीसी की स्वीकृति की जायेगी, गोरखनाथ मंदिर गेट से सौराई भनार मॉ रणकुंची मंदिर क्षेत्र के लिए सड़क प्रस्तावित की जायेगी, तल्लादेश में दूर संचार की व्यवस्था हेतु जो भी जरूरी कदम है उठाये जायेंगे की घोषणा की।
बग्वाल मेले में पहुंचे सीएम, हजारों श्रद्धालुओं के साथ देखी पौराणिक परंपरा
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को चंपावत जिले के देवीधुरा स्थित मां वाराही धाम में लगने वाले प्रसिद्ध बग्वाल मेले में प्रतिभाग किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने माँ वाराही मंदिर में विधि विधान से पूजा कर राज्य की खुशहाली की कामना की एवं मां वाराही धाम में चार खाम सात थोक के बीच खेले जाने वाले प्रसिद्ध पाषाण युद्ध के साक्षी बने। इस अवसर पर उन्होंने देवीधुरा में पुलिस चौकी के निर्माण कार्य किए जाने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए कहा की संस्कृति और संस्कार के इस उत्तराखंड प्रदेश के चम्पावत, देवीधुरा में स्थित मां वाराही धाम को शीश झुकाकर कोटिश प्रणाम करता हूं। इस क्षेत्र में अवस्थित भीम शिला, आदि शक्ति गुफा, एवं समस्त देवी-देवताओं के आशीर्वाद से 2021 को बग्वाल मेले को राजकीय मेला घोषित किया गया था। कोरोना काल में दो साल से प्रतीकात्मक बग्वाल आयोजित की जा रही थी। उन्होंने कहा कि रक्षा बन्धन के शुभ अवसर पर बग्वाल युक्त इस मेले से देवीधुरा चम्पावत की प्रसिद्धि, ख्याति पूरे देश भर में ही नहीं अपितु विदेशों में भी है।
मुख्यमंत्री ने कहा की जोशीमठ के सितूण में स्थित माता सीता के 4 दशक एवं 2 वर्ष बाद हो रहे महायज्ञ में जाने का अवसर प्राप्त हुआ था, जहां माता सीता जी को प्रसन्न किये जाने हेतु उनकी विराजमान पाषाण शिला की अर्चना की जाती है, तो वहीं माँ वाराही देवी को प्रसन्न किये जाने हेतु पाषाण युद्ध अर्थात बग्वाल खेला जाता है। उन्होंने कहा देवीधुरा के बग्वाल पूजन से क्षेत्र में खुशहाली आए, फसलों की अच्छी पैदावार हो, क्षेत्र वासी रोग मुक्त हों, निवासियों को अन्न-धन की प्राप्ति हो, ऐसी मेरी प्रार्थना है। उन्होंने कहा कुमायूं के प्राचीन मंदिरों को भव्य बनाने के लिये मानसखण्ड मंदिर माला मिशन की शुरुआत की गई है। इस मिशन के अन्तर्गत ही माँ वाराही धाम देवीधूरा को भी जोड़ा जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा की प्रधानमंत्री के नेतृत्व में केदारनाथ मंदिर का भव्य एवं दिव्य निर्माण कार्य हुआ है, साथ ही बद्रीनाथ धाम का निर्माण कार्य भी तेजी से किया जाएगा। चार धाम यात्रा में इस साल रिकॉर्ड श्रद्धालु आ रहे हैं। उन्होंने कहा ऑल वेदर रोड के निर्माण कार्य से पर्यटक एवं श्रद्धालुओं का सफर सुगम एवं सुरक्षित हुआ है। संपूर्ण देश प्रधानमंत्री के नेतृत्व में आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। उन्होंने कहा हमारी सरकार ने संकल्प लिया है कि हम उत्तराखंड राज्य के 25 वें राज्य स्थापना दिवस पर देश के सर्वश्रेष्ठ राज्य बने।
इस अवसर पर सांसद अजय टम्टा, अध्यक्ष वन विकास निगम उत्तराखंड कैलाश चन्द्र गहतोड़ी, अध्यक्ष जिला पंचायत ज्योति राय, विधायक लोहाघाट खुशाल सिंह अधिकारी, भीमताल राम सिंह कैड़ा, पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा, पूर्व सांसद महेंद्र पाल, पूर्व दर्जा मंत्री हयात सिंह मेहरा, आयुक्त कुमाऊं दीपक रावत, पुलिस अधीक्षक देवेंद्र पींचा, मुख्य विकास अधिकारी आर एस रावत, मंदिर समिति के संरक्षक लक्ष्मण सिंह लमगड़िया, अध्यक्ष खीम सिंह लमगड़िया, खाम प्रमुख त्रिलोक सिंह बिष्ट, गंगा सिंह चम्याल, बद्री सिंह बिष्ट, वीरेंद्र सिंह लमगड़िया एवं अन्य लोग मौजूद रहे।
सीएम ने लिया आध्यात्मिक गुरु प्रेम सुगंध से आशीर्वाद
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को चम्पावत स्थित नखुडा (खरही) में साक्षी फाउंडेशन के आध्यात्मिक गुरु प्रेम सुगंध से उनके साधना केंद्र पर जाकर भेंट कर आशीर्वाद लिया।
इस अवसर पर मीडिया से वार्ता करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश एवं उत्तराखण्ड के मध्य 21 सालों से जो मामले लंबित पड़े थे, उन सब पर सहमति बन गई है। इसके लिए उन्होंने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का आभार व्यक्त किया। दोनों राज्यों के बीच परिवहन, सिंचाई, आवास, पर्यटन तथा लंबित परिसम्पतियों के सम्बन्ध में महत्वपूर्ण बैठक हुई, सभी मामलों पर दोनों राज्यों की सहमति बनी।
इस दौरान सांसद अजय टम्टा, विधायक पूरण फर्त्याल, जिलाधिकारी चम्पावत विनीत तोमर भी उपस्थित रहे।
सीएम त्रिवेंद्र ने चंपावत में 18 करोड़ 65 लाख की लागत से 12 योजनाओं का किया शिलान्यास
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने जनपद चम्पावत के लोहाघाट में बने ग्रोथ सेंटर का निरीक्षण कर ग्रोथ सेंटर के भवन का सुदृढ़ीकरण तथा लौह बर्तन एवं कृषि यंत्र उत्पादन मशीनों का लोकार्पण किया। मुख्यमंत्री ने लगभग 11 करोड़ 93 लाख की सात विभिन्न विकास योजनाओं के लोकार्पण के साथ ही लगभग 18 करोड़ 65 लाख लागत की 12 योजनाओं का शिलान्यास किया। मुख्यमंत्री ने ग्रोथ सेंटर के निरीक्षण के दौरान कहा कि ग्रोथ सेंटर आत्मनिर्भर भारत और वोकल फोर लोकल का अच्छा उदाहरण है, इसलिए ग्रोथ सेंटर से जुड़े लोगों के स्किल डेवलवमेंट की भी व्यवस्था की जाय। मुख्यमंत्री द्वारा राजकीय पशु प्रजनन प्रक्षेत्र नरियाल गांव का भी भ्रमण किया गया।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार विकास एवं जनकल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से प्रदेश की जनता को लाभान्वित करने के लिए प्रतिबद्ध है। बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने चिकित्सा विभाग की समीक्षा करते हुए कहा कि वर्तमान समय में कोविड- 19 से निपटने के लिए हम सभी को सामूहिक रूप से प्रयास करने होंगे, इसमें किसी भी प्रकार का शिथिलता न बरती जाय। कोरोना संक्रमण वायरस के नियंत्रण व रोकथाम के लिए लगातार प्रचार-प्रसार किया जाय। कहा कि हमारा मकसद स्वरोजगार को बढ़ावा देना है तथा प्रति व्यक्ति आय में बढोत्तरी करना है, इसलिए नियोजित तरीके से खपत की पूर्ति करने के लिए एक बेहतर योजना होनी चाहिए। मनरेगा की समीक्षा करते हुए मुख्यमंत्री ने अधिक से अधिक व्यक्तियों का पंजीकरण कराने के निर्देश दिये।
मुख्यमंत्री ने जल जीवन मिशन की समीक्षा करते हुए कहा कि इस योजना के तहत एक रूपये में पानी के कनेक्शन दिये जा रहे है इसलिए विभाग प्रत्येक दिन का लक्ष्य निर्धारित कर धरातलीय कार्य करें। सीएम ने पिरूल से बिजली उत्पादन की अत्यधिक संभावनाओं को देखते हुए कहा कि लोगो को इसके लिए प्रेरित एवं जागरूक कर जिससे वनाग्नि को काफी हद तक रोका जा सकता हैं एवं लोगो की आर्थिक स्थिति को भी मजबूत किया जा सकता हैं।
बैठक में जिलाधिकारी सुरेंद्र नारायण पांडे, प्रभारी मंत्री अरविंद पांडेय, विधायक पूरन सिंह फर्त्याल, कैलाश चन्द गहतोड़ी, जिला पंचायत अध्यक्षा ज्योति राय, दायित्वधारी हयात सिंह मेहरा, मंडलायुक्त अरविंद सिंह ह्यांकी, जिलाधिकारी सुरेंद्र नारायण पांडेय आदि उपस्थित थे।
पर्वतीय जिलों का विकास सरकार की प्राथमिकताः मुख्यमंत्री
चंपावत जिले के भ्रमण पर पंहुचे मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने चंपावत जिले को कई सौगातें दी। इस अवसर पर उन्होंने जिला मुख्यालय के गोल्ज्यू मैदान में तीन दिवशीय चंपावत महोत्सव में प्रतिभाग किया गया। इस दौरान उन्होंने जिले के विकास हेतु 116 करोड़ 26 लाख रुपये की लागत के कुल 33 कार्यों का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया गया। जिसमें 64 करोड़ 21 लाख 17 हजार की कुल 17 योजनाओं का शिलान्यास तथा 52 करोड़ 4 लाख 63 हजार रुपये की लागत के 16 कार्यों का लोकार्पण किया गया।
इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री द्वारा जनपद के विकास हेतु विभिन्न घोषणाएं की जिसमें चम्पावत मुख्यालय में पार्किंग का निर्माण, विकास खण्ड लोहाघाट के विसुंग के टाड़ खेल मैदान में चहार दीवारी का निर्माण, पाटी के राजकीय इंटर कॉलेज मुलाकोट व लोहाघाट के राजकीय इंटर निडिल में दो दो अतिरिक्त कक्षा कक्ष्यों का निर्माण, स्यामलाताल का सौंदर्यीकरण किए जाने, सुखी ढांग डांडामिनार सड़क में 30 किलोमीटर सड़क का डामरीकरण कराए जाने के साथ की चम्पावत को पर्यटन सर्किट के रूप में विकसित किए जाने की घोषणाएं की गईं। इसके अतिरिक्त माननीय मुख्यमंत्री ने जनपद चम्पावत जो लिगांनुपात में पूरे देश में पिछड़ा हुवा था इन वर्षों में जिले में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ जैसे अभियान चलाकर सभी के सहयोग से वर्तमान में लिंगानुपात प्रति हजार 974 हो जाने पर बधाई देते हुए इस सराहनीय व उल्लेखनीय कार्य करने वाले सभी अधिकारियों, कर्मचारियों, महिलाओं को 10 -10 हजार रुपये पुरुस्कार की घोषणा देते हुए जिलाधिकारी चम्पावत व टीम को बधाई दी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि मेले में विभिन्न विभागों आदि के द्वारा जो भी स्टाल लगाए गए हैं उससे जिले के विकास की झलक दिखने को मिल रही है। उन्होंने कहा कि मेलों का स्वरूप बदलना चाहिए मेले में ग्रामीण क्षेत्र के जो उद्यमी हैं विभिन्न पैदावार कर रहे हैं उनके उत्पाद मेले में प्रदर्शित हों,ताकि मेले में आने वाले युवाओं को वह दिखे ओर उससे प्रेरित हों। उन्होंने कहा कि मेलों के माध्यम से लोगों को विशेष रूप से युवाओं को इन उत्पादों के बारे में जानकारी उपलब्ध कराई जाय। उन्होंने कहा कि युवाओं में जो ब्यवसायिकता की कमी व अभाव है इस प्रकार के मेलों के आयोजन से युवाओं में ब्यवसायिकता के गुण सीख सकते हैं, यहां के युवाओं में प्रतिभा की कमी नहीं है।
कार्यक्रम के उपरांत मुख्यमंत्री विगत दिनों जनपद के जी.आई.सी रोड निवासी शहीद राहुल रैंसवाल के घर गए जहां उन्होंने उनके परिजनों से मुलाकात कर सांत्वना दी। उन्होंने कहा कि उनके पुत्र ने देश की सेवा में अपना जो योगदान दिया उससे सम्पूर्ण राज्य उन्हें हमेशा याद रखेगा। उन्होंने कहा कि वीर सहीद की धर्मपत्नी को उनकी योग्यता के अनुसार सरकारी नोकरी प्रदान की जाएगी। इससे पूर्व जनपद आगमन पर प्रदेश के मुख्यमंत्री द्वारा न्याय के देवता गोल्ज्यू के मंदिर जाकर पूजा अर्चना कर ईश्वर से प्रदेश की खुशहाली की कामना कर आशीर्वाद लिया ।
इस अवसर पर विधायक चंपावत कैलाश गहतोड़ी, लोहाघाट पूरन फर्त्याल, अध्यक्ष जिला पंचायत ज्योति राय, दर्जा राज्य मंत्री हयाद माहरा, जिलाधिकारी सुरेन्द्र नारायण पाण्डेय, पुलिस अधीक्षक लोकेश्वर सिंह सहित अन्य गणमान्य उपस्थित थे।