प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गुरूवार को विज्ञान भवन नई दिल्ली से 9वें नगर गैस वितरण बोली चक्र के अन्तर्गत देश के 19 राज्यों के 129 जिलो में स्थित 65 भौगोलिक क्षेत्रों में गैस वितरण की परियोजनाओं का शिलान्यास किया। इसमें जनपद देहरादून भी शामिल है। इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने 14 राज्यों में फैले 124 जिलो के 50 भौगोलिक क्षेत्रों के लिये 10वें गैस वितरण बोली चक्र का भी शुभारंभ किया। जबकि मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने देहरादून जनपद की गैस वितरण परियोजना का शुभारंभ किया।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कोयले और अन्य तरल ईंधनों की तुलना में प्राकृतिक गैस पर्यावरण अनुकूल, सुरक्षित, सस्ता, उत्कृष्ट ईंधन है। प्रधानमंत्री ने कहा कि विश्व के 23.4 प्रतिशत प्राकृतिक गैस उपयोग की तुलना में भारत का ऊर्जा क्षेत्र में प्राकृतिक गैस का प्रतिशत 6.2 है। इसे 15 प्रतिशत तक किये जाने की दिशा में हम अग्रसर है। प्रधानमंत्री ने कहा कि 10वें नगर गैस वितरण बोली चक्र के पश्चात् देश के 27 राज्यों के 52 प्रतिशत क्षेत्रफल के 402 जनपदो की 70 प्रतिशत आबादी को यह सुविधा उपलब्ध हो जायेगी। इससे आम आदमी का जीवन आसान होगा। 2014 तक सीएनजी स्टेशनों की संख्या 947 थी, वह आज 1470 हो गयी है। इस दशक के अन्त तक इसकी संख्या 10 हजार के पार किये जाने की व्यवस्था की जा रही है। सिटी गैस वितरण का कार्य तेजी से बढ़ रहा है। इसमें वितरण की परेशानियों का भी समाधान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि यह रिफार्म, ट्रांसफार्म व परफार्म का अच्छा उदाहरण है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि पहले गैस कनेक्शन के लिये लाईन में लगना होता था, जिससे अब निजात मिल गई है। एलपीजी कनेक्शन व्यवस्था जहां 1955 में आरम्भ हुई थी तथा 2014 तक 13 करोड़ कनेक्शन वितरित हुए, जबकि पिछले चार वर्षों में ही 12 करोड़ गैस कनेक्शन वितरित किये गये है। उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास देश की 40 प्रतिशत ऊर्जा की जरूरत गैस व अन्य पारम्परिक ऊर्जा स्रोतों से पूरा करने का है।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने देहरादून जनपद को नगर गैस वितरण परियोजना से जोडने के लिये प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का आभार व्यक्त किया। उन्होंने अपेक्षा की कि गेल इस परियोजना को एक से डेढ़ वर्ष में पूर्ण कर लेगा। उन्होंने इसे देहरादूनवासियों के लिये नई सौगात बताते हुए इसे दून वैली के पर्यावरण को भी मजबूती प्रदान करने वाला बताया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गैस पाइप लाईन से जहां लोगों को तमाम तरह की कठिनाईयों से निजात मिलेगी वहीं सीएनजी स्टेशनों की स्थापना से सीएनजी वाहनों की संख्या भी बढ़ेगी तथा इससे वाहनों से होने वाले प्रदूषण से भी दूनवासियों का छुटकारा मिल सकेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज देहरादून में वाहनों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। राज्य के मैदानी क्षेत्रों में आबादी का दबाव निरन्तर बढ़ रहा है। उसी क्रम में आगे भी वाहनों का दबाव बना रहेगा, इसका बेहतर रास्ता सीएनजी ही है। इस अवसर पर मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने आईआईपी, देहरादून में स्थापित बायोगैस संयत्र का अवलोकन कर संयत्र के संबंध में भी वैज्ञानिकों से जानकारी प्राप्त की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हरिद्वार, ऊधमसिंहनगर तथा देहरादून के बाद नैनीताल के साथ ही अन्य स्थानों में भी गैस पाइप लाइन का कार्य आरम्भ होगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने देश को गैस ईंधन के रूप में इस्तेमाल करने पर जोर दिया है। बिजली के संकट से जूझ रहे अनेक कारखानों को गैस ईंधन नई ऊर्जा मिल रही है। उन्होंने कहा कि गैस ईंधन कम खर्चीला तथा इको फ्रेन्डली है। इससे दूनवासियों के जीवन में निश्चित रूप में बदलाव आयेगा तथा आम जिंदगी खुशहाल होगी।